30 अक्टूबर को शरद पूर्णिमा, इस तिथि की रात में खीर का सेवन क्यों किया जाता है? - ucnews.in

गुरुवार, 29 अक्टूबर 2020

30 अक्टूबर को शरद पूर्णिमा, इस तिथि की रात में खीर का सेवन क्यों किया जाता है?

30 अक्टूबर को शुक्रवार और पूर्णिमा का शुभ योग बन रहा है। शुक्रवार देवी लक्ष्मी की पूजा के लिए विशेष दिन है। शरद पूर्णिमा पर लक्ष्मीजी पृथ्वी का भ्रमण करती हैं। देवी पूछती हैं को जागृति यानी कौन जाग रहा है? इसी मान्यता की वजह से इस पूर्णिमा को कोजागर पूर्णिमा भी कहते हैं।

आश्विन मास की पूर्णिमा को शरद पूर्णिमा कहा जाता है। उज्जैन के ज्योतिषाचार्य पं. मनीष शर्मा के अनुसार इस तिथि की रात चंद्रमा की किरणें औषधीय गुणों से युक्त रहती हैं, जो कई बीमारियों की रोकथाम कर सकती हैं। इसी वजह से शरद पूर्णिमा की रात चंद्र की रोशनी में खीर बनाने की परंपरा है। खीर पर चंद्रमा की किरणें पड़ती हैं, जिससे चंद्र के औषधीय गुण खीर में आ जाते हैं। इसके सेवन से स्वास्थ्य लाभ मिलते हैं। मन शांत होता है और सकारात्मकता बढ़ती है।

शरद पूर्णिमा पर खीर का सेवन क्यों?

शरद पूर्णिमा से मौसम में परिवर्तन की शुरूआत हो जाती है। इस तिथि के बाद से ठंडक बढ़ने लगती है। शीत ऋतु का आगमन होता है। शरद पूर्णिमा की रात में खीर का सेवन करना इस बात का प्रतीक है कि शीत ऋतु में हमें गर्म पदार्थों का सेवन करना चाहिए, क्योंकि इन्हीं चीजों से ठंड से लड़ने की शक्ति मिलती है। खीर में दूध, चावल, सूखे मेवे आदि पौष्टिक चीजें डाली डाती हैं, जो कि शरीर के लिए फायदेमंद होती हैं। इन चीजों की वजह से शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ती है। स्वास्थ्य अच्छा रहता है।

श्रीकृष्ण गोपियों संग रचाते हैं महारास

इस तिथि के संबंध में श्रीकृष्ण से जुड़ी एक मान्यता प्रचलित है। माना जाता है कि श्रीकृष्ण ने गोपियों संग वृंदावन में इसी तिथि पर रासलीला रचाई थी। इसी वजह से वृंदावन में आज भी शरद पूर्णिमा पर विशेष आयोजन किए जाते हैं। इसे रासलीला की रात भी कहते हैं।

देवी लक्ष्मी की करें विशेष पूजा

इस रात में देवी लक्ष्मी पृथ्वी का भ्रमण करती हैं। इसी वजह से जो लोग देवी की कृपा चाहते हैं, वे इस रात में लक्ष्मीजी का विशेष पूजन करते हैं। रातभर जागकर पूजा-पाठ की जाती है। लक्ष्मीजी के स्वागत के लिए दीपक जलाए जाते हैं।

महालक्ष्मी के मंत्र का जाप करना चाहिए। मंत्र जाप कम से कम 108 बार करें। इसके लिए कमल के गट्टे की माला से जाप करना चाहिए।
मंत्र- ऊँ श्रीं ह्रीं श्रीं कमले कमलालये प्रसीद प्रसीद श्रीं ह्रीं श्रीं ऊँ महालक्ष्मयै नम:।



Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
Sharad Purnima on 30 October, old tradition about Kheer on sharad purnima, sharad purnima date, lord krsihna and maharas


from Dainik Bhaskar
via

Share with your friends

Related Posts

Add your opinion
Disqus comments
Notification
This is just an example, you can fill it later with your own note.
Done